मध्य प्रदेश की बात की जाए तो बीजेपी अपनी जीत का दारोमदार तोमर और सिंधिया को दे रही है। ग्वालियर चंबल अंचल प्रदेश का राजनीतिक तौर पर सबसे समृद्ध अंचल माना जाता है। बीजेपी ने प्रदेश में अपने सबसे विश्वस्त सिपहसालार और मुरैना से सांसद नरेंद्र सिंह तोमर को मध्य प्रदेश में चुनाव प्रबंधन की जिम्मेदारी सौंपी है। ग्वालियर से ताल्लुक रखने वाले राज्यसभा सांसद ज्योतिरादित्य सिंधिया के ऊपर भी बीजेपी का पूरा दारोमदार है पिछली बार उन्होंने जिस तरह कांग्रेस को इस अंचल में जीत पक्की करवाई थी, इस बार बीजेपी को दिलवाए ऐसी आलाकमान को उम्मीद है। ग्वालियर और चंबल दो इकाइयां है लेकिन राजनीतिक नजरिए से इन दोनों संभागों को एक ही माना जाता है साल 2018 विधानसभा चुनाव में ज्योतिरादित्य सिंधिया के प्रभाव के चलते कांग्रेस ने इस क्षेत्र में बंपर जीत हासिल की 25 सीटें जीती जबकि बीजेपी को मात्र आठ सीटें मिली थी और एक सीट पर बीएसपी ने कब्जा किया था और जब से सिंधिया के बीजेपी में चले गए हैं उसके बाद नवंबर 2020 में प्रदेश की 28 विधानसभा सीटों पर उपचुनाव में बीजेपी को 19 और कांग्रेस को 9 सीटें मिली थी ग्वालियर संभाग में बीजेपी के विधायक छ: से बढ़कर 11 हो गए थे। नरेंद्र सिंह तोमर ने ग्वालियर चंबल संभाग में 34 में से 26 सीट जीतने का लक्ष्य तय किया है 2018 में ज्योतिरादित्य सिंधिया के साथ कांग्रेस से बीजेपी में आने वाले दो लोगों पर भी बीजेपी ने भरोसा जताया और आगामी चुनाव में अपनी किस्मत आजमाने का मौका भी दिया सुमावली से एंदल सिंह कंसाना और पिछोर से पीतम सिंह लोधी का नाम शामिल है। ग्वालियर चंबल संभाग की 6 सीटों पर प्रत्याशी घोषित कर दिए गए हैं जहां पर बीजेपी चुनाव हारी थी सिंधिया के सभी से विश्वासपात्र कहे जाने वाले तुलसीराम सिलावट का मार्ग बनाने के लिए सांवेर सीट के प्रबल दावेदार राजेश सोनकर को भेज दिया गया है तो वही गुना की चाचौड़ा सीट पर पिछली बार चुनाव हारी ममता मीणा की जगह प्रियंका मीणा पर भरोसा जताया गया है।
कांग्रेस की बात की जाए तो कांग्रेस की ओर से प्रियंका गांधी जुलाई में ही ग्वालियर में एक बड़ी सभा कर चुकी है पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह इसी आंचल में गुना से है और प्रदेश में कांग्रेस के मुख्य रणनीतिकार के तौर पर उनकी काफी अहम भूमिका हमेशा से रही है कांग्रेस की ओर से डॉक्टर गोविंद सिंह ग्वालियर चंबल अंचल का एक और बाद चेहरा है 2018 के चुनाव में पहली बार विधानसभा चुनाव लड़ी बीएसपी के संजीव कुमार कुशवाहा ने बड़े अंतर से भिंड की सीट जिन जीतकर बीजेपी के समक्ष कड़ी चुनौती पेश की थी हालांकि इस वक्त वह बीजेपी में शामिल हो चुके हैं डीएसपी एक बार फिर विधानसभा चुनाव के लिए तैयारी में तो जुटी हुई है और अबकी बार उसकी नजर ग्वालियर चंबल अंचल पर है।
आंकड़ों की बात की जाए तो चंबल संभाग तीन जिले , श्योपुर और भिंड। 13 विधानसभा क्षेत्र ग्वालियर संभाग 5 जिले अशोकनगर शिवपुरी दतिया गुना और ग्वालियर 21 विधानसभा क्षेत्र।
बीजेपी ने तोमर और सिंधिया को सौंपा जीत का दारोमदार—
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