पलवल। पलवल के पुराने सोहना रोड के करीब सौ से अधिक दुकानदारों के सामने एक बार फिर रोजी रोटी का सवाल आन खड़ा हुआ है। नौबत यह आ गई है कि दुकानदार अपना व्यवसाय तक छोड़ने की योजना बना रहे हैं। इनमें करीब तीस दुकानदार तो अपनी दुकानों को बंद कर पलायन तक कर चुके हैं।
पुराना सोहना रोड कभी पलवल का सबसे व्यस्त क्षेत्र हुआ करता था। सोहना गुड़गांव व नूंह की तरफ जाने वाले यात्री इसी मोड़ से ही वाहन पकड़ते थे। कुछ वर्ष पूर्व यहां सीवर लाइन डालने का कार्य शुरू हुआ था ताकि पूरे शहर को सिवर व्यवस्था से जोड़ा जा सके। इसलिए प्रशासन ने इसका ठेका छोड़ा तथा ठेकेदार ने पूरी सोहना रोड को खोद डाला तथा सोहना के रास्ते जाने वाली सवारियों के लिए सामान्य अस्पताल के नजदीक से सोहना रोड निकाला गया। इसका नतीजा यह निकला कि जो लोग कभी पुराने सोहना रोड से सवारी लेते थे वो अब सामान्य अस्पताल के पास से सवारी लेने लगे और पुराने दुकानदारों के सामने रोजी रोटी का सवाल आन खड़ा हुआ। इसके बाद सरकार बदल गई तथा ठेकेदार को रकम न मिलने के कारण चलता हुआ काम बंद हो गया तथा पूरी सडक खुदी की खुदी रह गई।
करीब पांच साल तक सड़क को ठीक कराने कोई नहीं आया। पांच वर्ष के लंबे अर्से तक सड़क ठीक न होने के कारण नतीजा यह निकला कि सोहना रोड के बहुत से दुकानदार अपना व्यवसाय बंद कर पलायन कर गए। इसके बाद जब सोहना रोड की सड़क बन पाई तब तक बहुत देर हो चुकी थी। लोगों को अब सामान्य अस्पताल के पास से ही अपने गंत्वय स्थान के लिए सवारी लेना अच्छा लगने लगा था। नतीजा यह हुआ कि सोहना रोड के दुकानदारो को अपनी फिर से पहचान बनाने मे एक लंबा अरसा लग गया। अब हालात यह है कि हथीन, नूंह, सोहना की तरफ जाने वाले लोग इस पुराने सोहना रोड़ पर आने का नाम तक नहीं लेते और सामान्य अस्पताल के पास से ही सवारी पकड़ते हैं। इस कारण पुराने सोहना रोड पर ग्राहकों के लिए दुकानदार दिन भर तरसते रहते हैं।
पुराने सोहना रोड़ दुकानदार एसोसिएशन के अध्यक्ष सतनाम सिंह बताते हंै कि कभी यहां 200 से अधिक दुकानें थींं परन्तु प्रशासन ने यहां के दुकानदारों को पूरी तरह से उजाड़ दिया है। करीब सौ से भी अधिक दुकानदार अपना कारोबार समेट कर दुकाने बंद कर चुके हैं।