हिमाचल प्रदेश की राजधानी शिमला के संजौली में अवैध मस्जिद मामले की सुनवाई शनिवार को नगर निगम कोर्ट में हुई। कोर्ट ने मस्जिद की तीन अवैध मंजिलों को गिराने की अनुमति दे दी और इसके लिए दो महीने का समय निर्धारित किया। वक्फ बोर्ड की निगरानी में ये निर्माण हटाए जाएंगे, और गिराने का खर्च मस्जिद कमेटी को स्वयं उठाना होगा। ग्राउंड फ्लोर और पहली मंजिल के मामले की सुनवाई 21 दिसंबर को होगी।
लोकल्स को पार्टी बनाने से कोर्ट का इनकार
सुनवाई के दौरान कोर्ट ने स्थानीय लोगों को मामले में पार्टी बनाने से इनकार कर दिया। कोर्ट ने सीपीसी के नियम 1/10 के तहत स्थानीय लोगों की अर्जियों को खारिज कर दिया। मस्जिद कमेटी ने 12 सितंबर को निगम कोर्ट से अवैध ढांचे को गिराने की अनुमति मांगी थी।
क्या है संजौली मस्जिद विवाद
संजौली में स्थित यह मस्जिद 1950 से पहले की है, और पहले यह कच्ची थी और केवल दो मंजिलों की थी। 2010 में इसका निर्माण कार्य शुरू हुआ, जिसके बाद यह पक्की बनकर पांच मंजिलों की हो गई। आरोप है कि मस्जिद का निर्माण अवैध रूप से और बिना अनुमति के किया गया है। हिंदू संगठनों ने इस मस्जिद को तोड़ने की मांग की थी, जिसके बाद मुस्लिम पक्ष अवैध ढांचे को गिराने पर सहमत हो गया।