अलवर देश में बढ़ रहे अपराधों की रोक थाम के सवाल पर महाशिव पुराण कथा वाचक पंडित प्रदीप मिश्रा ने कहा की सरकार पूरी तरह अपराध नहीं रोक सकती है। अपराध सिर्फ हमारे संस्कार द्वारा रोका जा सकता है , हमे अपने घर के सदस्यों को सीख देनी होगी। तभी अपराध को रोका जा सकता है । जितने भी बड़े ओहदों पर बैठे लोग है वे सही संस्कारों से जुड़े है । तो गलत काम नहीं करेंगे। इन सबके साथ संविधान के अनुसार तो चलना ही पड़ेगा। संस्कारवान होना भी जरूरी है। उन्होंने ये बात अलवर में पत्रकार वार्ता के दौरान कही।
अलवर में महाशिव पुराण कथा वाचक पंडित प्रदीप मिश्रा ने बागेश्वर धाम के पंडित धीरेंद्र शास्त्री की ओर से नोएडा में महिलाओं पर दिए गए बयान पर कहा कि यह श्रेष्ठता नहीं है। आपका चेहरा आपकी पहचान नहीं है आपकी वाणी ही पहचान है। आप कुछ भी बोलना चाहते है तो उसका अनुवादन करें। उसे अपने ऊपर भी लेकर देखना चाहिए कि क्या यह बोलना सही है या फिर नहीं किसी भी महिला , स्त्री और सौभाग्वती नारी के लिए यह शब्द सही रहेगा क्या ?
उन्होंने इस अवसर पर कहा कि पंडित धीरेंद्र शास्त्री के बयान को सही नहीं कहा जा सकता। 95 फीसदी महिलाएं कथा में आती है पुरुषों के लिए कथा करने के सवाल पर कथा वाचक प्रदीप मिश्रा ने कहा की महिलाओं का आना अधिक जरूरी है। महिलाएं किसी बालक को जन्म देती है। पुरुष आएगा तो अपने आप को ही सुधारेगा लेकिन मां तो पति , बेटी , सास , ससुर , बेटी सबको संस्कारित करेगी। एक अकेली जड़ से उत्पन होगा वृक्ष वह पत्ती व टहनी के रूप में न जाने कितनों को संस्कार देती है । इसलिए ही महिलाओं का उपस्तिथ होना अधिक आवश्यक है।
शिवजी पर बेलपत्र चढ़ाने से काफी अच्छे रिजल्ट आएंगे इस सवाल पर उन्होंने कहा की अंधविश्वास उसे कहते है कि जमीन में फूंक मारकर कोई भी चीज निकालने की बात कहे , अंधविश्वास उसे कहते है कि कोई कहे कि व्यक्ति कभी मरेगा नहीं । अंधविश्वास इसे नहीं कहते कि वटवृक्ष के पूजन करते है तो वहां वृटवेश्वर महादेव है। पीपल के नीचे पूजा करने से वहां पीपलेश्वर महादेव नहीं मौजूद होंगे । लेकिन यह बात सही है की अगर आप पीपल के पेड़ के नीचे बैठेंगे तो आपको फल की प्राप्ति होगी और यह कोई अंधविश्वास नहीं है ।हमारी सोच यह है कि सनातन धर्म के लिए जितने भी लोग प्रयास कर रहे है उनको प्रेरित करते रहना है। ताकि लोग जुड़े रहे । उनके जरिये दूसरे लोग भी सनातन को आगे बढ़ाने का प्रयास करे ।
कथावाचक प्रदीप मिश्रा ने कहा कि मैंने कथा में जो बोला उसे पूरा सुने । हमेशा कहता हूं कि पहले डॉक्टर को दिखाओ । सब जांच भी कराओ। उसके बाद शिवजी पर विश्वास करो । सालों से हमारे बुजुर्ग तो नज़र उतारते आए है । वह क्या है। वह भी ईश्वर पर विश्वास है। महाशिवपुराण की कथा कर रहे पं.प्रदीप मिश्रा का कहना है कि में कथा के माध्यम से राजनीति की बात नहीं करता , अगर कथा में राजनेता आते है तो ये आयोजन समिति का मुद्वा है कि किस को बुलाते है ,किसको नहीं बुलाते। व्यास पीठ पर बैठकर में राजनीति की बातें नहीं करता। उन्होंने कहा कि अगर हम अंदर से अच्छे है तो सब अच्छा लगता है । उन्होंने बताया कि सोशल मीडिया के माध्यम से धर्म का प्रभाव बढ़ा है ।साथ ही उन्होंने इस बात पर भी जोर दिया शिक्षा और धर्म में लोभ की प्रवृत्ति नहीं होनी चाहिए । लव जिहाद की बढ़ती घटनाओं को लेकर पं.प्रदीप मिश्रा ने कहा कि बेटियां गलत मार्ग पर नहीं जाएं , किसी के प्रलोभन में नहीं आएं क्योंकि माता-पिता अपनी बेटियों के लिये पूरी जिन्दगी इसी में लगा देते है कि बच्चे सही मार्ग पर चले । पं.प्रदीप मिश्रा ने कहा कि महाशिवपुराण कथा के माध्यम से धर्म का प्रभाव बढ़ता है और जिस स्थान पर कथा का आयोजन होता है वहां लोग इसीलिये आते है क्योंकि वे धर्म से जुड़े लोग है । सोशियल मीडिया से संतो की बात आमजन में घर घर तक पहुंच रही है। इस से धर्म की प्रभावना बढ़ रही है। उन्होंने कहा कि अंध विश्वास से दूर रहे क्योंकि अंध विश्वास इंसान को धर्म से दूर रखता है और गलत रास्ते पर ले जाता है ।