कर्नाटक के मांड्या में भगवान गणेश की मूर्ति की शोभायात्रा के दौरान भड़की हिंसा(karnataka procession violence: ) के बाद पुलिस ने 46 लोगों को गिरफ्तार किया है। अधिकारियों ने गुरुवार को यह जानकारी दी। बुधवार देर रात नागमंगला कस्बे में तनाव फैल गया, जहां दो पुलिसकर्मियों समेत कुछ लोग पथराव में मामूली रूप से घायल हो गए। हालांकि, स्थिति पर काबू पा लिया गया है और अतिरिक्त सुरक्षा बलों को तैनात किया गया है।
karnataka procession violence: चार से अधिक लोग के एकत्र होने पर रोक
14 सितंबर तक इलाके में चार से अधिक लोगों के एकत्र होने पर रोक लगाने के लिए निषेधाज्ञा लागू कर दी गई है। मांड्या के पुलिस अधीक्षक मल्लिकार्जुन बलदंडी ने कहा, “हमने बुधवार की घटना के सिलसिले में 46 लोगों को गिरफ्तार किया है। स्थिति अब सामान्य हो गई है। लोग अपने दैनिक कामकाज कर रहे हैं। दुकानें खुली हैं। हमने कर्नाटक राज्य रिजर्व पुलिस के अतिरिक्त बल के साथ-साथ सादी वर्दी में अन्य पुलिस अधिकारियों को भी तैनात किया है।” पुलिस के मुताबिक, गैरकानूनी तरीके से एकत्र होने, हत्या का प्रयास, सरकारी कर्मचारियों के काम में बाधा डालने, सार्वजनिक संपत्ति को नुकसान पहुंचाने और भारतीय दंड संहिता की अन्य धाराओं के तहत मामला दर्ज किया गया है।
दो समूहों के बीच बहस के दौरान भड़की हिंसा
पुलिस ने बताया कि बुधवार को जब बदरिकोप्पलु गांव से श्रद्धालु शोभायात्रा निकाल रहे थे, तब दो समूहों के बीच बहस हो गई और कुछ उपद्रवियों ने पथराव किया जिससे स्थिति बिगड़ गई। दोनों समूहों के बीच झड़प के बाद कुछ दुकानों में तोड़फोड़ की गई और वाहनों में आग लगा दी गई। पुलिस ने भीड़ को तितर-बितर करने और स्थिति को संभालने के लिए हल्का बल प्रयोग किया। शोभायात्रा निकालने वाले युवाओं के समूह ने थाने के निकट विरोध प्रदर्शन किया और हिंसा के लिए जिम्मेदार लोगों की तत्काल गिरफ्तारी की मांग की।