उत्तर प्रदेश लोक सेवा आयोग (यूपीपीएससी) द्वारा पीसीएस प्री और आरओ-एआरओ परीक्षा को दो दिन में आयोजित करने के फैसले के खिलाफ अभ्यर्थियों का विरोध प्रदर्शन तीसरे दिन भी जारी रहा। विरोध करने वाले अभ्यर्थियों ने मंगलवार रात को कैंडल मार्च निकाला और अपनी मांगों के समर्थन में नारे लगाए। वे एक दिन में केवल एक परीक्षा आयोजित करने की मांग कर रहे हैं, ताकि उन्हें तैयारी में अधिक समय मिल सके।
प्रदर्शन कर रहे छात्रों में से एक प्रत्यूश सिंह ने बताया कि पिछले दो दिनों की तुलना में आज छात्रों की संख्या कम है, लेकिन वे अपनी मांग ‘एक दिन, एक परीक्षा’ को लेकर पूरी तरह से प्रतिबद्ध हैं। वे चाहते हैं कि आयोग केवल एक दिन में एक ही परीक्षा आयोजित करे, ताकि उनकी तैयारी में कोई बाधा न हो। छात्रों ने बुधवार को भी धरना जारी रखा और यूपीपीएससी के अध्यक्ष संजय श्रीनेत के खिलाफ नारेबाजी की।
प्रदर्शनकारी अभ्यर्थी ज्ञानेंद्र कुमार ने कहा, “हम तब तक प्रदर्शन करेंगे जब तक हमारी मांग पूरी नहीं होती। चाहे यह आंदोलन एक सप्ताह चले या कई सप्ताह, हम पीछे नहीं हटेंगे।” छात्रों ने आयोग के खिलाफ अपना विरोध जताते हुए कैंडल मार्च निकाला और अपनी एकजुटता का संदेश दिया।
यूपीपीएससी द्वारा इस संबंध में एक बयान जारी किया गया था, जिसमें कहा गया था कि समय के साथ प्रतियोगी छात्रों की जरूरतों को ध्यान में रखते हुए परीक्षा प्रणाली में सुधार किए जाते रहे हैं। आयोग ने पीसीएस की मुख्य परीक्षा से वैकल्पिक विषय हटाने और स्केलिंग को समाप्त करने जैसे कदम उठाए हैं। आयोग ने यह भी कहा कि सरकारी शिक्षण संस्थानों को ही परीक्षा केंद्र बनाना सुनिश्चित किया गया है और इन केंद्रों का मुख्यालय से 10 किलोमीटर के दायरे में होना अनिवार्य किया गया है।
यूपीपीएससी के सचिव अशोक कुमार ने कहा कि जब पेपर लीक हुआ था, तो छात्रों ने निजी संस्थानों को परीक्षा केंद्र बनाने के खिलाफ आवाज उठाई थी। अब, जब सरकार ने छात्रों की मांग पर केंद्र बनाने के दिशा-निर्देश दिए हैं, तब ये छात्र इसका विरोध कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि पीसीएस परीक्षा के लिए 5,76,000 पंजीकरण हैं, जबकि केवल 4,35,000 छात्रों के लिए परीक्षा केंद्र उपलब्ध हो पा रहे हैं। इस कारण दो दिन में परीक्षा आयोजित करने का निर्णय लिया गया है।
विरोध कर रहे छात्रों ने यूपीपीएससी के गेट के बाहर तख्तियां ले रखी थीं, जिनमें लिखा था, “बटेंगे नहीं, हटेंगे नहीं, न्याय मिलने तक एक रहेंगे” और “एक दिन, एक परीक्षा”। परीक्षा के लिए यूपीपीएससी ने सात और आठ दिसंबर को पीसीएस प्री परीक्षा की तिथि निर्धारित की है, जबकि आरओ-एआरओ प्री परीक्षा के लिए 22 और 23 दिसंबर को तिथि निर्धारित की गई है।
इस प्रकार, छात्र आंदोलन जारी रखे हुए हैं और अपनी मांगों को लेकर पूरी तरह से एकजुट हैं।