भारतीय जनता पार्टी (BJP) ने सोमवार को अभिनेत्री और सांसद कंगना रनौत(Kangana BJP: ) के उस बयान से असहमति जताते हुए खुद को अलग कर लिया, जिसमें उन्होंने पंजाब में किसान आंदोलन के संदर्भ में विवादास्पद टिप्पणी की थी। कंगना ने एक साक्षात्कार में कहा था कि किसान आंदोलन के दौरान पंजाब में उपद्रवी हिंसा फैला रहे थे और वहां बलात्कार तथा हत्याएं हो रही थीं। उन्होंने यह भी कहा था कि तीन विवादास्पद कृषि विधेयकों को वापस लेना पड़ा, नहीं तो इन ‘उपद्रवियों’ की लंबी योजना थी और वे देश में कुछ भी कर सकते थे।
Kangana BJP: भाजपा ने कंगना को भविष्य में इस प्रकार के बयान न देने की हिदायत दी
भाजपा के केंद्रीय मीडिया विभाग की ओर से जारी एक प्रेस विज्ञप्ति में स्पष्ट किया गया कि कंगना रनौत का बयान पार्टी की आधिकारिक सोच या मत नहीं है। पार्टी ने कहा कि कंगना को पार्टी के नीतिगत विषयों पर बोलने की अनुमति नहीं है, और न ही उन्हें ऐसे बयान देने के लिए अधिकृत किया गया है। प्रेस विज्ञप्ति में भाजपा ने कंगना को भविष्य में इस प्रकार के बयान न देने की हिदायत दी है। पार्टी ने कहा कि वह ‘सबका साथ, सबका विकास, सबका विश्वास और सबका प्रयास’ तथा सामाजिक समरसता के सिद्धांतों पर चलने के लिए प्रतिबद्ध है।
भाजपा ने इस बयान से खुद को अलग किया
कंगना के बयान पर पार्टी की असहमति का यह बयान उस समय आया जब साक्षात्कार में उन्होंने भाजपा के शीर्ष नेतृत्व की मजबूती का हवाला देते हुए कहा था कि अगर नेतृत्व मजबूत नहीं होता, तो किसान आंदोलन के दौरान पंजाब को भी बांग्लादेश बना दिया जाता। भाजपा ने इस बयान से खुद को पूरी तरह से अलग करते हुए इसे पार्टी का दृष्टिकोण नहीं माना।