रेवाड़ी- महेंद्रगढ़ रोड़ पर गांव जाडरा के निकट स्थित एक निजी स्कूल के एक अध्यापक द्वारा नोट बुक नहीं लाने पर एक बच्चे की पिटाई करने का मामला सामने आया है। इतना ही नहीं बच्चे की मां ने अध्यापक पर बच्चे को जातिसूचक शब्द कहकर अपमानित करने तथा शिकायत लेकर जाने पर अध्यापक द्वारा उसके साथ भी दुर्व्यवहार करने का आरोप लगाते हुए पुलिस में मामला दर्ज कराया है। पुलिस ने एससी-एसटी एक्ट सहित विभिन्न धाराओं के तहत मामला दर्ज कर कार्यवाही शुरू कर दी है।
जानकारी के अनुसार शहर के यादव नगर निवासी सीमा देवी नामक महिला ने अपने एक बेटा व बेटी का दाखिला रेवाड़ी-महेंद्रगढ़ रोड स्थित गांव जाडरा के निकट एक निजी स्कूल में दो माह पहले दाखिला कराया था। 20 फरवरी को उसका बेटा अपने बैड पर औंधे मुंह लेटा हुआ था। जब सीमा देवी ने बच्चे से इसका कारण पूछा तो वह रो पड़ा तथा बताया कि केवल नोट बुक नहीं लाने पर उसके अध्यापक ने उसे बेरहमी से पीटा है , जिससे उसे दर्द हो रहा है। बच्चे की बात सुनकर एक पड़ोसी की मदद से उसने बच्चे को अस्पताल में ले जाकर उसका उपचार कराया।
उसके बाद सीमा देवी स्कूल पहुंची और संबंधित अध्यापक आशुतोष दूबे से बच्चे की पिटाई करने का कारण पूछा। सीमा ने पुलिस को दी शिकायत में बताया कि अध्यापक आशुतोष दूबे ने बच्चे की पिटाई करने का कारण बताने की बजाय उसके साथ भी दुर्व्यवहार किया। जब उसने स्कूल के प्राचार्य व निदेशक से बात की तो उन्होंने भी मामले को गंभीरता से नहीं लिया। सीमा ने शिकायत में कहा है कि कुछ दिनों पहले उक्त अध्यापक ने उसे बच्चे से उसकी जाति के बारे में पूछा था , जब उसने अपने जाति बताई तो उसी दिन से वह उसे जातिसूचक शब्द कहकर अपमानित कर रहा था। पुलिस ने शिकायत के आधार पर अध्यापक के खिलाफ एससी-एसटी एक्ट सहित विभिन्न धाराओं के तहत मामला दर्ज कर कार्यवाही शुरू कर दी है।
क्या कहते है निदेशक?
स्कूल के निदेशक ने कहा कि पुलिस ने मामला दर्ज करने से पहले जांच करनी चाहिए थी। अध्यापक ने नोट बुक लाने पर बच्चे को भविष्य में ध्यान रखने की नसीहत के तौर पर धमकाया होगा , जिसका यह मामला बनाकर उसे बेवजह तूल दिया जा रहा है।