नई संसद भवन में भी आज हंगामा देखने को मिला दरअसल मल्लिकार्जुन खड़गे ने अपने बयान में कहा कि सभी राजनीतिक दलों की ऐसी आदत है कि वह कमजोर महिलाओं को टिकट दे देते हैं, मल्लिकार्जुन खड़गे के इस बयान पर राज्यसभा में हंगामा शुरू हो गया।
संसद के नए भवन में राज्यसभा की कार्यवाही के दौरान राज्यसभा में नेता प्रतिपक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने महिला आरक्षण बिल पर अनुसूचित जाति की महिलाओं की साक्षरता दर कम है और यही कारण है कि सियासी दलों की आदत है कि वह कमजोर महिलाओं को टिकट दे देते हैं, ऐसा बयान दिया। इसके साथ ही उन्होंने कहा कि इसलिए उन महिलाओं को नहीं चुनते जो शिक्षित थी और लड़ सकती हैं इस बयान के बाद हंगामा मचा और हंगामे के बीच वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने कहा कि हम विपक्ष के नेता का सम्मान करते हैं। लेकिन इस तरह का बयान देना सभी पार्टियों उन महिलाओं को चुनती है जो कमजोर है, यह हमें बिल्कुल मंजूर नहीं है। हम सभी को हमारी पार्टी ने सशक्त बनाया है।
केंद्रीय वित्त मंत्री ने कहा कि राष्ट्रपति द्रोपदी मुर्मू एक सशक्त महिला है तो इसी बात पर मल्लिकार्जुन खड़गे बोले पिछड़े एसटी की महिलाओं को ऐसे मौके नहीं मिलते हैं जो,उन्हें मिल रहे हैं, हम यह कह रहे हैं।
तो वहीं मल्लिकार्जुन खड़गे ने कहा कि मैं सिर्फ यही कह रहा हूं कि हमने लगातार महिला आरक्षण बिल का समर्थन किया है। साल 2010 में इसे पास करने की कोशिश भी की है, संसद लोकतंत्र का मंदिर है।
उन्होंने कहा कि वे हमें श्रेय नहीं देते लेकिन मैं उनके ध्यान में लाना चाहता हूं कि महिला आरक्षण विधेयक 2010 में पहले ही पारित हो चुका था लेकिन इसे रोक दिया गया था।
दोनों के बीच तीखी बहस देखने को मिली हालांकि बाद में राज्यसभा के सभापति ने मल्लिकार्जुन खड़गे और वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण दोनों ही नेताओं को शांत करवाया