हेल्दी रहने के लिए खाने के साथ साथ उसका हाइड्रेशन (hydration) होना भी बहुत जरूरी है। शरीर में पानी कम होते ही कई तरह की समस्याएं होने लगती हैं। लेकिन क्या आप जानते हैं कि पानी का लेवल ज्यादा होने से भी कई तरह ही दिक्कतों का सामना करना पड़ सकता हैं। शरीर में पानी की अधिक होने की कंडीशन को वाटर रिटेंशन (water retention) कहा जाता है। वाटर रिटेंशन (water retention) के कारण ही शरीर में सूजन और असहजता देखी जाती है। चलिए जानते हैं कुछ टिप्स जिसकी हेल्प से वाटर रिटेंशन (water retention) जैसी बिमारी से छुटकारा पाया जा सकता हैं।
विटामिन B6 में वाटर रिटेंशन को कम करने में मदद
भोजन करते समय आप जितना नमक के सेवन से बचोगे उतना ही शरीर में वाटर रिटेंशन (water retention) की समस्या कम होगी। क्योंकि नमक में सोडियम होता है जिससे शरीर में पानी जमने की समस्या के कारण वाटर रिटेंशन (water retention) की संभावना को भी बढ़ाता है। इसलिए डॉक्टर्स ज्यादातर खाने में नमक के सेवन को कम करने की सलाह देते हैं। वही विटामिन B6 में वाटर रिटेंशन (water retention) को कम करने में मदद करती है जैसे चना और फैटी मछली के सेवन से शरीर के संतुलन को बनाए रखता हैं इसके अलावा विटामिन B6 पेशाब बढ़ाने का काम करता है, जो आपके शरीर से अतिरिक्त पानी और सोडियम को बाहर निकालने में मदद करता है।
यह भी पढ़ें : Fenugreek Water पीने से होंगे गजब के फायदे, जानकर रह जाएंगे हैरान
वाटर रिटेंशन से लड़ने का नेचुरल तरीका
सिंहपर्णी (Dandelions) के फूल वाटर रिटेंशन (water retention) से लड़ने का एक नेचुरल तरीका है। डंडेलियन (Dandelions) में भी पेशाब बढ़ाने के गुण होते हैं, जिसका मतलब है कि आपके शरीर से अतिरिक्त पानी को बाहर निकालने में मदद कर सकता है। आप इसकी चाय बनाकर या भोजन के समय सलाद के रूप में भी अपनी डाइट में शामिल कर सकते हैं।
हालांकि फिजिकल एक्टिविटी से सिर्फ संपूर्ण स्वास्थ्य नहीं बढ़ता बल्कि वाटर रिटेंशन (water retention) की समस्या भी दूर होती है। एक्सरसाइज करते वक्त मसल्स सिकुड़ती हैं, जो ब्लड की गति और लिम्फेटिक ड्रेनेज को बढ़ाती हैं। इससे कोशिका में जमा पानी कम हो जाता है और वाटर रिटेंशन (water retention) से छुटकारा मिलता है।
लेटेस्ट खबरों के लिए जुड़े रहें : https://deshrojana.com/